संगड़ाह। किसान सभा जिला अध्यक्ष रमेश वर्मा ने कहा कि, 2005 मे शुरू हुए खेती बचाओ आंदोलन की बदौलत आज सिरमौर के अधिकतर हिस्से बंदरों के आतंक से मुक्त हो चुके है। उन्होंने कहा कि, किसान सभा द्वारा गठित खेती बचाओ समिति के अभियान के बाद प्रदेश सरकार अथवा वन्य प्राणी विभाग द्वारा बंदरों को Wildlife Protection Act के शेड्यूल- 5 में रखकर वर्मिन घोषित किया गया तथा इन्हें मारने की अनुमति दी गई। विकास खंड संगड़ाह में वन्य प्राणी विभाग के सहयोग से वर्ष 2007 में किसानों ने Operataron कलिंग चलाकर 419 बंदरों को अपनी बंदूकों से मारा था। इसके बाद राज्य सरकार द्वारा जहां बंदरों की नसबंदी की गई, वहीं किसानों ने विभिन्न उपायों से जिला के अधिकतर हिस्सों को बंदरों के आतंक से मुक्त करवा डाला। शुक्रवार को को रमेश वर्मा ने पत्रकारों से बातचीत मे कहा कि, पिछले करीब तीन दशक से जिला सिरमौर के कईं हिस्सों के लोग बंदरों से आतंकित होकर से खेती छोड़ रहे थे और इनमें से कुछ बड़े शहरों में मजदूरी के लिए पलायन पर मजबूर हो गए थे। उन्होने बताया कि, जिला के अधिकतर हिस्से गत वर्ष Monkey आतंक से मुक्त हो चुके हैं और सिरमौर नगदी फसलों के मामले में सोलन के बाद प्रदेश का दूसरा जिला बना है। सिरमौर के किसान टमाटर, मटर, अदरक, आलू व गोभी आदि नकदी फसलों से पहले से ज्यादा कमाई कर रहे हैं।
पुरानी पेंशन बहाली के लिए तेज किया जाएगा आंदोलन @ पुंडीर
उपमंडल समितियों के पुनर्गठन की प्रक्रिया शुरु
संगड़ाह। पुरानी पेंशन योजना की बहाली के लिए आन्दोलन को तेज करने के उदेश्य से पेंशन योजना कर्मचारी संघ द्वारा सभी उपमंडल स्तरीय कमेटियों का पुर्नगठन किया जा रहा है। संघ के जिला अध्यक्ष सिरमौर सुरेन्द्र पुन्डीर ने प्रेस को जारी बयान मे कहा की, 17 सितम्बर को संगड़ाह उपमंडल की बैठक रेस्ट हाऊस संगड़ाह में, 18 को नाहन उपमंडल की शाही होटल नहान मे, 19 सितम्बर को शिलाई की रेस्ट हाऊस रोहनाट मे, पांवटा की रेस्ट हाउस पांवटा साहिब, राजगढ़ की बैठक आदर्श वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय राजगढ़ में तथा सराहन की 21 सितम्बर को रेस्ट हाऊस सराहन मे होगी। खण्ड स्तर पर सभी विभागों से 35 सदस्यीय समिति का गठन किया जायेगा। सुरेन्द्र पुन्डीर ने कहा कि, यदि सरकार पुरानी पेंशन की बहाली के लिए कोई स्कारातमक पहल नही करेगी तो आंदोलन तेज किया जाएगा।
जनसंपर्क विभाग के कलाकारों ने दी कल्याणकारी सरकारी योजनाओं की जानकारीनाहन। प्रदेश सरकार की कल्याणकारी योजनाओं को सिरमौर के दूरदराज व ग्रामीण क्षेत्र के लोगों तक पहुंचाने के लिए सूचना एवं जनसंपर्क विभाग द्वारा चलाए जा रहे जन जागरूकता अभियान में आज विकास खण्ड नाहन की ग्राम पंचायत अम्बवाला-सैनवाला व बर्मा पापड़ी में कार्यक्रम प्रस्तुत किए गए। विभाग के कलाकारों ने गीत संगीत व नाटक की प्रस्तुति देते हुए लोगों को बताया कि, प्रदेश सरकार प्राकृतिक खेती खुशहाल किसान योजना के तहत प्राकृतिक खेती को बढावा देने के लिए देसी नस्ल की गाय की खरीद पर 50 प्रतिशत उपदान के साथ अधिकतम 25000 तक की राशि देती है। अनुसूचित जाति, जनजाति व अन्य पिछड़ा वर्ग के युवाओं के कौशल विकास के लिए कंप्यूटर प्रशिक्षण करवाया जाता है, जिसमें प्रतिमाह 1000 की छात्रवृत्ति भी दी जाती है। विकास खण्ड पच्छाद के जहर व मानगढ, विकास खण्ड शिलाई के शरली और जामना, विकास खण्ड संगडाह के गनोग व शामरा, विकास खण्ड पांवटा साहिब के राजपुरा व राजबन में भी कलाकारों ने जनमंच कार्यक्रम से लोगों की समस्याओं का शीघ्र निपटान, मुख्यमंत्री स्वावलंबन योजना, हिम केयर, हिमाचल गृहिणी सुविधा योजनाओं पर जानकारी दी। कलाकारों ने युवाओं से प्रदेश को नशा मुक्त बनाने के लिए अपने सहयोग देने का आग्रह किया तथा गांव-गांव में नशा निवारण कमेटी बनाने का आग्रह किया। कोविड-19 से बचाव के लिए निर्देशों का पालन करने तथा टीकाकरण से छूट रहे लोगों को टीकाकरण करवाने के लिए प्रेरित किया।
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