World athletic Championship के लिए बबलू को लेना पड़ा Loan

दृष्टिबाधित धावक को आश्वासनों के बावजूद नहीं मिली आर्थिक मदद 

बिजिंग में 7, जून से शुरू होने वाली विश्व एथलेटिक प्रतियोगिता के लिए चाहिए सवा लाख

किंकरी देवी के बाद किसी International event में Beijing जाने वाले संगड़ाह के दूसरे शख्स है बबलू

खनन माफिया से जंग जीतने के लिए किंकरी देवी ने भी बेच डाली थी दिवंगत पति की आखरी निशानी 
(File Photos)
             
 सरकार भले ही दिव्यांग खिलाड़ियों को प्रोत्साहन देने के बड़े-बड़े दावे कर रही हों, बेशक दिव्यांगों के नाम पर होने वाली National व International स्तर की विभिन्न प्रतियोगिताएं आए दिन सुर्खियों में रहती हों, मगर संगड़ाह के दिव्यांग धावक बबलू को अंतरराष्ट्रीय स्तर की एक प्रतियोगिता के लिए एक लाख का Loan लेना पड़ा। China के Beijing में आयोजित होने वाली World athletics Championship के लिए चयनित Sangrah के वीरेंद्र उर्फ बबलू को न तो Himachal Government से आर्थिक मदद मिली और न ही किसी गैर सरकारी संगठन से Sponsorship मिल सकी।
 पहली बार अंतर्राष्ट्रीय स्तर की चैंपियनशिप के लिए चयन होना उक्त Athlete के लिए काफी मायने रखता है, इसलिए वह मौका नही छोड़ना चाहता। बिजिंग वर्ल्ड athletic Championship की Registration की आखिरी तिथि के चलते बबलू ने बुधवार को अपने नाम पर सहकारी बैंक संगड़ाह से एक लाख का ऋण लिया। आयुर्वेदिक विभाग में कार्यरत 27 वर्षीय दृष्टिबाधित धावक विरेन्द्र सिंह से इस ऋण की वसूली बैंक द्वारा उसकी मात्र 12,000 रूपए Monthly salary से की जाएगी। गत सप्ताह विरेंद्र उर्फ बबलू द्वारा Social Media, मीडिया व अन्य माध्यमों से क्षेत्र व प्रदेश वासियों से चीन में आयोजित होने वाली इस प्रतियोगिता के लिए Financial support की अपील की गई थी। 
  इस दौरान उन्होंने स्थानीय Congress विधायक व क्षेत्र के BJP नेताओं से भी व्यक्तिगत रूप से अथवा प्रदेश सरकार के माध्यम से यथासंभव आर्थिक सहायता उपलब्ध करवाने की अपील की थी, मगर अब तक न तो नेताओं का दिल पसीजा और न ही कल्याणकारी सरकार ने सहायता की। बबलू के अनुसार उसे उक्त Championship में बेहतर प्रदर्शन की उम्मीद है तथा कामयाब होने की सूरत में संभवत उसे दोबारा कर्ज नहीं लेना पड़ेगा। National level की आधा दर्जन पैराएथलेटिक चैंपियनशिप में उत्कृष्ट प्रदर्शन कर एशिया में चौथा रैंक प्राप्त कर चुके दृष्टिबाधित धावक विरेंद्र उर्फ बबलू तथा उनके परिजन चीन में आयोजित होने वाली World para athletics Championship के लिए उनका Selection होने से काफी उत्साहित है। चीन जाने के लिए उन्हें करीब सवा लाख की रकम की व्यवस्था करनी है, जिसके लिए वह ₹1,00,000 का लोन ले चुके हैं। 
 आर्थिक दृष्टि से कमजोर उनके परिवार को चैंपियनशिप के लिए चयनित होने की खुशी के साथ साथ कर्जा चुकाने की टीस भी है। सरकार, पैराएथलेटिक्स एसोसिएशन तथा किसी भी गैरसरकारी संस्थान से Sponsorship न मिलने के चलते Loan लेने की नौबत आई। उक्त धावक ने क्षेत्रवासियों, प्रदेशवासियों व Government से फिर से उन्हें यथासंभव मदद की अपील की ताकि वह जल्द ऋण चुका सके। विरेन्द्र सिंह के HP State Cooperative Bank संगड़ाह में मौजूद बचत खाते का नंबर- 56510112193 है तथा इसका IFSC कोड HPSC 0000565 है। धावक विरेन्द्र सिंह का Mobile Number 8544781118 है। गत 1 से 3 जनवरी तक दिल्ली में आयोजित National trial Run के दौरान 5 किलोमीटर, 1500 Metre तथा 800 मीटर तीनों event में दूसरे स्थान पर रहने के चलते उनका चीन में होने वाली अंतरराष्ट्रीय दौड़ के लिए चयन हुआ। जनवरी में नेहरू स्टेडियम में हुई ट्रायल रन से पूर्व गत 10 से 13 दिसंबर तक दिल्ली के ही त्याग राज क्रीड़ा परिसर में आयोजित National Para Athletic Championship में वह 5 किलोमीटर, 1,500 मीटर व मीटर 800 मीटर दौड़ में तीन Silver 🏅 जीत चुके हैं।
 जनवरी, 2018 में लुधियाना तथा मार्च, 2018 में पंचकूला में हुई पैरा एथलेटिक्स चैंपियनशिप में भी बबलू 1500, 800 मीटर तथा 5 किलोमीटर दौड़ में चार रजत व एक कांस्य पदक जीत चुके हैं। बबलू ने कहा कि, बिजिंग विश्व एथलेटिक्स चैंपियनशिप के लिए बुधवार को वह 70,000 रूपए तक की Registration fees जमा करवा चुके हैं। 
(राष्ट्रीय पुरस्कार विजेता किंकरी देवी)

 किसी अंतरराष्ट्रीय आयोजन में बिजिंग पंहुचने वाले वह संगड़ाह के दूसरे व्यक्ति होंगे। इससे पहले वर्ष 1998 में National Award विजेता पर्यावरण प्रेमी किंकरी देवी अंतरराष्ट्रीय महिला सम्मेलन में बिजिंग गई थी। विडंबना यह भी है कि, किंकरी देवी ने सिरमौर के खनन माफिया के खिलाफ अपनी जंग को अंजाम देने के लिए बैलों की जोड़ी तथा दिवंगत पति की आखरी निशानी चांदी का हार तक बैच दिया था। गौरतलब है कि, International level का धावक बनने के लिए अब तक कोच, Physiotherapist, डाइट व एथलेटिक किट जैसी मूलभूत सुविधाओं के अभाव के बावजूद बबलू राष्ट्रीय स्तर की प्रतियोगिताओं में आधा दर्जन रजत व कांस्य पदक जीत चुके हैं। बहरहाल विरेन्द्र उर्फ बबलू को ऋण मिल गया है तथा उन्हें Beijing (China) में बेहतर प्रदर्शन की उम्मीद है।

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