Congress के 6 आयोग्य MLA पर 6 मई को फैसला सुना सकती है Supreme Court

Parliament Election तक सुक्खू सरकार को मिली राहत 

Speaker के फैसले पर SC ने रोक लगाने से किया इन्कार

हिमाचल विधानसभा अध्यक्ष द्वारा Disqualified कांग्रेस के 6 विधायकों पर सुप्रीम कोर्ट 6 मई को अपना फैसला सुना सकती है। SC ने प्रदेश के 6 बागी कांग्रेस विधायकों द्वारा Speaker के फैसले को चुनौती देने वाली याचिका पर सोमवार को सुनवाई की। निष्कासित विधायकों का पक्ष देश के वरिष्ठ वकील हरीश साल्वे ने Court में रखा। SC ने इन विधायकों को अयोग्य ठहराने के विधानसभा अध्यक्ष के फैसले को चुनौती देने वाली याचिका पर संबंधित प्रतिवादी को Notice जारी किया और विधानसभा अध्यक्ष के फैसले पर रोक लगाने से इनकार कर दिया। साथ ही Vote देने या सदन की कार्यवाही में भाग लेने की अनुमति देने से भी इनकार कर दिया। मामले की अगली सुनवाई 6 मई को निर्धारित की गई है और तभी कोई फैसला होने की उम्मीद है। दोनों को पक्षों को 4 सप्ताह के भीतर जवाबी हलफनामा दाखिल करना होगा। प्रदेश विधानसभा अध्यक्ष कुलदीप सिंह पठानिया ने व्हिप का उल्लंघन का हवाला देते हुए Congress MLA सुधीर शर्मा, राजेंद्र राणा, इंद्रदत्त लखनपाल, रवि ठाकुर, देवेंद्र भुट्टो व चैतन्य शर्मा की योग्यता रद्द कर दी थी। Speaker के मुताबिक व्हिप जारी होने के बावजूद उक्त विधायक सदन में Budget पारित होने के दौरान उपस्थित नहीं हुए, जिसके चलते इन पर कार्रवाई की थी। राज्यसभा चुनाव में गत 27 फरवरी को BJP के पक्ष में अथवा Cross voting के आरोपी इन विधायकों ने विधानसभा अध्यक्ष के फैसले के खिलाफ Supreme Court में चुनौती दी है। इन विधायकों की सदस्यता बहाल न होने से हिमाचल की Congress अथवा Sukhvinder Sukkhu Government सरकार को भी तक के लिए राहत जरूर मिली है, मगर अल्पमत में आने की तलवार अभी भी लटकी हुई है। Parliament Election के दौरान यदि अयोग्य घोषित कांग्रेस विधायकों के हल्के में भी चुनाव हुए और वह जीत गए तो सुक्खू सरकार खतरे में पड़ जाएगी। राज्यसभा चुनाव में गत 27 फरवरी को भाजपा व कांग्रेस दोनों उम्मीदवारों को 34-34 Vote मिले थे और किस्मत ने भाजपा का साथ दिया था। अब हिमाचल की Congress सरकार की किस्मत का फैसला आगामी 1 जून को होने वाले Election पर टिका समझा जा रहा है।


 

Comments